OROP – अच्छा मौका, सरकार की जवानों से सीधी बात.. NO- Officer &

वन रैंक वन पेंशन (OROP) के संदर्भ में सरकार का नया कदम: सिर्फ जवानों से संवाद

जय हिंद दोस्तों!
आप सभी का स्वागत है  आज हम बात करेंगे सरकार द्वारा जवानों से सीधे संवाद करने के लिए उठाए गए नए कदम के बारे में। यह कदम खासतौर पर वन रैंक वन पेंशन (OROP) से जुड़े लाभ और हानि को लेकर है। आइए, इस पर विस्तार से चर्चा करते हैं:


1. जवानों से सीधा संवाद: सरकार का निर्णय

सरकार ने एक पत्र जारी किया है, जिसमें स्पष्ट किया गया है कि वे अधिकारियों (Officers) और जेसीओ (JCOs) से नहीं, बल्कि केवल जवानों (NCOs और ORs) से बातचीत करना चाहती है। इसके पीछे कारण है कि सरकार OROP के लाभों का सही आकलन करना चाहती है।

  • किसे बुलाया गया है?
  • एक हवलदार
  • एक नायक
  • तीन सिपाही
  • किसे नहीं बुलाया गया?
  • जेसीओ (JCO)
  • अधिकारी (Officers)

2. OROP से सबसे ज्यादा लाभ पाने वाले जवान ही शामिल होंगे

सरकार ने इस संवाद के लिए उन जवानों का चयन किया है जिन्हें OROP के तहत सबसे अधिक लाभ मिला है। केवल उन्हीं जवानों को बुलाया जा रहा है जिन्होंने OROP-3 के अंतर्गत अधिकतम लाभ प्राप्त किया है।

  • लाभ पाने वाले जवानों की चयन प्रक्रिया:
  • पार्टिकुलर्स भेजे जाएंगे।
  • चयनित जवान रक्षा मंत्री से संवाद करेंगे।

3. नुकसान उठाने वाले जवान शामिल नहीं होंगे

इस संवाद में ऐसे जवानों को शामिल नहीं किया जाएगा जिन्हें OROP के अंतर्गत नुकसान हुआ है। इसके लिए पहले भी रक्षा मंत्री से बातचीत की जा चुकी है, लेकिन अभी तक कोई ठोस निर्णय नहीं लिया गया है।

  • नुकसान किन्हें हुआ?
  • ऑनरी लेफ्टिनेंट (Honorary Lieutenant)
  • ऑनरी कैप्टन (Honorary Captain)
  • सुभेदार मेजर (Subedar Major)

4. OROP के विभिन्न संस्करणों में तुलना

अब हम देखते हैं कि OROP-2 और OROP-3 में क्या अंतर है और किसे कितना लाभ मिला:

  • OROP-2:
  • कई रैंकों में नुकसान हुआ, विशेष रूप से सुभेदार और ऑनरी लेफ्टिनेंट जैसे पदों पर।
  • सिपाही और हवलदार को अपेक्षाकृत कम नुकसान हुआ।
  • OROP-3:
  • कुछ पदों पर सुधार हुआ, लेकिन कुछ रैंक्स को अब भी कोई लाभ नहीं मिला।
  • सदार मेजर और ऑनरी कैप्टन को अभी भी कोई बढ़ोतरी नहीं मिली है।

5. सरकार का उद्देश्य: संवाद और संतुलन

सरकार चाहती है कि वे जवानों से संवाद करें जो OROP से सबसे अधिक लाभान्वित हुए हैं, ताकि वे इसकी सफलता को दिखा सकें। हालांकि, इस पहल में उन जवानों की शिकायतें शामिल नहीं हैं जिन्होंने नुकसान झेला है।

  • क्या यह निर्णय सही है?
  • यह कदम एकतरफा प्रतीत होता है क्योंकि नुकसान झेलने वाले जवानों को शामिल नहीं किया गया।
  • इससे उन जवानों की चिंताओं का समाधान नहीं होगा जिन्हें OROP से कोई लाभ नहीं मिला।

6. वन-मैन ज्यूडिशियल कमेटी की रिपोर्ट

OROP के संदर्भ में गठित वन-मैन ज्यूडिशियल कमेटी की रिपोर्ट अब तक सार्वजनिक नहीं की गई है। सरकार को चाहिए कि:

  • रिपोर्ट सार्वजनिक की जाए।
  • पटना हाई कोर्ट द्वारा दिए गए सुझावों को लागू किया जाए।

7. जवानों के लिए सुझाव

अगर आप उन जवानों में से एक हैं जिन्हें इस संवाद के लिए चुना गया है, तो आपको अपने और अपने साथियों के लिए आवाज उठानी चाहिए। यह सिर्फ आपके लिए नहीं, बल्कि सभी जवानों के लिए है:

  • सबकी बात करें:
  • चाहे वह सिपाही हो, सुभेदार हो या ऑनरी कैप्टन, हर किसी की समस्याएं सामने रखें।
  • सभी की समस्याओं का समाधान मांगें।

निष्कर्ष: जवानों की एकजुटता जरूरी

यह सरकार का एक नया कदम है, जिसमें वे जवानों से सीधा संवाद करना चाहते हैं। हालांकि, यह पहल सिर्फ लाभान्वित जवानों के लिए है। ऐसे में हमें सुनिश्चित करना चाहिए कि सभी जवानों की समस्याएं सुनी जाएं और उनका समाधान निकले।

जय हिंद! जय भारत!


आपके विचार:
आप इस निर्णय के बारे में क्या सोचते हैं? क्या सरकार को सभी रैंक के जवानों से संवाद करना चाहिए? अपनी राय नीचे कमेंट में जरूर दें।

Hi im Rajani Singh. Helping veterans and ex-servicemen is a noble and impactful cause. These individuals have dedicated a significant portion of their lives to serving their country, often facing immense physical and emotional challenges. Supporting them as they transition back into civilian life can involve offering job opportunities, mental health care, housing, and community support. Many veterans struggle with post-traumatic stress disorder (PTSD) or physical disabilities, and ensuring they have access to quality healthcare and rehabilitation services is crucial. Educational programs and skill development initiatives can also help them reintegrate into the workforce. Moreover, creating a supportive and understanding community helps veterans regain a sense of belonging and purpose. By advocating for their needs, we honor their service and sacrifices, ensuring they receive the care and respect they deserve.

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